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माननीया राज्यपाल, उत्तर प्रदेश श्रीमती आनन्दीबेन पटेल जी से भेंट में " गांव किसान उन्नयन " संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष के पी सिंह ठैनुआं जी ने बृज क्षेत्र के महत्वपूर्ण मुद्दे उठाए व गाजियाबाद जनपद का नाम "चौधरी चरण सिंह पुरम" रखने का अनुरोध किया।

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दिनांक 4 मई, 2024 को माननीय राष्ट्रीय अध्यक्ष , गांव किसान उन्नयन के पी सिंह ठैनुआं जी ने लखनऊ स्थित राजभवन में महामहिम राज्यपाल महोदया, श्रीमती आनन्दीबेन पटेल जी से भेंट कर उनको बृज क्षेत्र की प्रमुख समस्याओं से व प्रमुख मांगों से अवगत कराया जिसमें पहला मुद्दा रखा कि मथुरा जनपद के बल्देव ब्लॉक स्थित बृज के राजा व भगवान श्री कृष्ण जी के ज्येष्ठ भ्राता हलधर " दाऊजी महाराज" मन्दिर तीर्थ स्थल का जीर्णोद्धार व कोरिडोर का निर्माण हो और वर्षों से लम्बित बरौली - कैलाश मन्दिर सम्पर्क मार्ग का निर्माण कार्य जल्द से जल्द गुणवत्तापूर्ण सम्पन्न हो । दुसरा मुद्दा उठाया कि हाथरस जनपद के सादाबाद में भारत रत्न "चौधरी चरण सिंह मैमोरियल" का निर्माण हो। तीसरा बिन्दु रखा कि बृज क्षेत्र के आगरा जनपद में स्थित सादाबाद ब्लॉक में या आगरा जनपद के खन्दौली ब्लॉक या मथुरा जनपद के बल्देव ब्लॉक में ही किसी एक जगह कृषि विश्वविद्यालय की स्थापना हो । चौथा मुद्दा रहा कि आगरा, हाथरस, फिरोजाबाद व मथुरा से होकर जाने वाली नहरों , माइनरों में नियमित पानी न आने की बड़ी समस्या का समाधान हो सके। पांचवां मुद

किसान मसीहा दीनबंधु सर छोटूराम जी की जयंती पर प्रधानमंत्री भारत सरकार श्री नरेंद्र मोदी जी से देश के किसानों के लिए किसान आयोग के गठन की अपील: चौधरी के पी सिंह ठैनुआं

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मैं चौधरी के पी सिंह ठैनुआं किसान मसीहा दीनबंधु सर छोटूराम जी के आदर्शों से बहुत प्रभावित हूं, क्योंकि मुझे भी गांव किसान की समृद्धि के लिए संघर्षरत रहने की प्रेरणा उनके जीवन से मिली, क्योंकि मैंने बचपन में किसान परिवार की आर्थिक तंगी को बड़ी करीबी से देखा है। आज भारत जब विश्व की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बड़ी होने की तरफ अग्रसर है , वहां किसान आज आर्थिक असमानता का शिकार होता जा रहा है। किसान मसीहा दीनबंधु सर छोटूराम जी का जन्म हरियाणा के रोहतक के छोटे से गांव के जाट किसान परिवार में हुआ, उन्होंने अपने पिता जी को उनकी पढ़ाई के लिए साहूकार से कर्ज के लिए अपमानित होते हुए देखा, यहीं से उन्होंने अपना जीवन गांव किसान के हितों के लिए समर्पित कर दिया और अंग्रेजों के शासनकाल में किसान मजदूरों की आवाज बुलंद की और किसानों के लिए उस समय की सरकार द्वारा किसान विरोधी कानूनों में परिवर्तन के लिए पराधीन भारत की सरकार से संघर्ष किया और सफल हुए। सर छोटूराम जी की शिक्षा उनकी ताकत बनी और वह अपने वेतन का बड़ा हिस्सा शिक्षण संस्थानों में दे दिया करते थे। उन्होंने प्रथम विश्व युद्ध में 22 हजार युव

श्री अन्न ( मिलेट्स) के उत्पादन व उपभोग के लिए जन जागरूकता क्यों आवश्यक है? यह भारत की पहल पर कैसे बना वैश्विक मुद्दा, सुनिए इस महत्वपूर्ण वीडियो सन्देश को ओर पढ़िये लेख : चौधरी के पी सिंह ठैनुआं

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सुनिए श्री अन्न के बारे में महत्वपूर्ण वीडियो सन्देश श्री अन्न (मिलेट्स) पर उत्तर प्रदेश के हाथरस जनपद से किसान नेता चौधरी के पी सिंह ठैनुआं जी ने पूरे भारत में गांव गांव शहर शहर जन जागरूकता के लिए अभियान की शुरुआत की है, वीडियो सन्देश के माध्यम से उन्होंने इस जन जागरूकता अभियान के उद्देश्यों को बड़ी स्पष्टता से बताया और श्री अन्न ( मिलेट्स) के उत्पादकों व उपभोक्ताओं के प्रोत्साहन के लिए केंद्र सरकार व राज्य सरकारों की जमकर सराहना की , कहा ऐसा पहली बार हुआ है कि किसी फसल पर 50% एम एस पी बढ़ाया गया हो। साथ ही कहा कि हर जन सामान्य को #internationalyearofmillets2023 #IYM2023 अंतरराष्ट्रीय मोटा अनाज वर्ष 2023 के उद्देश्यों के बारे में जैसे कुपोषण से लड़ना, खाद्यान्न संकट से निपटना, जल संरक्षण में योगदान आदि लाभों को लेकर विस्तारपूर्वक जानकारी होनी चाहिए । इसके लिए पहले उन्होंने पैतृक खेतों में 27.5 क्विंटल बाजरा उत्पादन करके छोटी सी शुरुआत की और उनके हाथरस जनपद के चिरावली गांव के खास किसान बाबा श्री महावीर सिंह जी ने सरकार खरीद केंद्र पर बाजरा को 2500 रूपए प्रति क्विंटल एम एस पी पर बेचा भी

कर्नाटक विधानसभा चुनाव 2023 में भारतीय जनता पार्टी की करारी हार या 2024 के लिए करारा सबक, सुनिए भाजपा को समर्थन देने वाले भारतीय किसान यूनियन भानू संगठन द्वारा किसान के मन की बात, क्यों है केन्द्र में 2024 से पहले किसान आयोग का गठन जरूरी।

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कर्नानाटक विधानसभा चुनाव 2023 परिणाम व यूपी नगर निकाय चुनाव परिणाम के बाद भारतीय किसान यूनियन भानू का बयान । विस्तृत: यूपी के नगर निकाय चुनावों में 17 नगर निगम में से 17 पर भारतीय जनता पार्टी की भारी जीत के लिए बहुत-बहुत बधाई, गौरतलब है कि भारतीय किसान यूनियन भानू के माननीय राष्ट्रीय अध्यक्ष ठाकुर भानु प्रताप सिंह जी ने नगर निकाय चुनावों में उत्तर प्रदेश के यशस्वी मुख्यमंत्री श्री योगी आदित्यनाथ जी की प्रशंसा करते हुए उनकी कार्यशैली से प्रभावित होकर भारतीय जनता पार्टी को खुला समर्थन दे दिया था। लेकिन साथ ही मैं चौधरी केपी सिंह ठैनुआं, प्रमुख राष्ट्रीय प्रवक्ता भारतीय किसान यूनियन भानू के रूप में भारतीय जनता पार्टी को कर्नाटक विधानसभा चुनाव में करारी हार पर भारतीय किसान यूनियन भानू की तरफ से स्पष्ट व स्वच्छ सलाह देना चाहूंगा कि वह अब भारतीय किसान यूनियन भानू की प्रमुख मांग "केन्द्र में किसान आयोग के गठन" को पूरा करने का जल्दी से जल्दी विचार करे, क्योंकि भारतीय किसान यूनियन भानू के माननीय राष्ट्रीय अध्यक्ष, भारतीय किसान यूनियन भानू ठाकुर भानु प्रताप सिंह जी ने 2014 में कांग्रेस

उस अन्नदाता किसान की कौन सुनेगा, जिनकी रात भी काली और किस्मत भी काली, आवारा गौवंश का समाधान कब करेगी सरकार?

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मित्रों कुछ पीड़ा ऐसी होती हैं जो दिखती सबको हैं, लेकिन उस पीड़ा को समझता कोई नहीं, जिस देश में लाख करोड़ों रुपए के हाइवेज बनते हैं, इन्फ्रास्ट्रक्चर बनते हैं, वहीं इस देश का अन्नदाता किसान जब आवारा गौवंश की समस्या के कारण अपनी फसल को बचाने के लिए सही से सो नहीं पाता। इस मुद्दे पर न बड़ा बजट सरकार के पास है और नहीं समाज के अन्य वर्गों के पास सोचने के लिए समय , हाल ही में मैं गुजरात हाईकोर्ट की टिप्पणी एक अखबार में प्रकाशित समाचार में पढ़ रहा था तो उसमें लिखा था "गौ हत्या बन्द हो जाए तो पूरे विश्व की समस्यायों का समाधान हो जाएगा" । मैं उत्तर प्रदेश के बृज क्षेत्र से हूं तो सोच रहा था कि इस समस्या के समाधान के लिए माननीय मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश सरकार श्री योगी आदित्यनाथ महाराज जी तक अपनी बात पहुंचाऊं, लेकिन जब मैं गुजरात व अन्य राज्यों में गया तो गौ माता की दशा देखकर लगा कि यह तो सम्पूर्ण भारत की समस्या है, ये सही बात है कि इस समस्या का जिम्मेदार कहीं न कहीं समाज सबसे ज्यादा है, लेकिन अब माननीय प्रधानमंत्री भारत सरकार श्री नरेंद्र मोदी जी को इस समस्या के समाधान के लिए अपने मंत

पूछते हैं 2024 के लोकसभा चुनावों से पहले 2023 के आम बजट पेश होने से पहले कृषि सेक्टर के पी एम मोदी से कुछ महत्वपूर्ण सवाल।

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पिछले वर्ष मैंने कृषि सेक्टर से जुड़े कुछ अहम मुद्दों पर इण्डिया टुडे ग्रुप के गुड न्यूज टुडे चैनल पर आम बजट में अपनी खुलकर राय रखी थी , लेकिन क्या 2024 लोकसभा चुनाव से पहले देश की माननीय प्रधानमंत्री, भारत सरकार श्री नरेंद्र मोदी जी के मंत्री मंडल की माननीय वित्त मंत्री, भारत सरकार श्रीमती निर्मला सीतारमण जी पिछले वर्ष के आम बजट से जो 4% प्रतिशत के आसपास दिया था, उससे ज्यादा बजट कृषि सेक्टर को देंगी या नहीं, इसी से साफ हो जाएगा, कोविड काल में देश‌ की अर्थव्यवस्था को संजीवनी देने वाले अन्नदाता किसान के कृषि सेक्टर को क्या तवज्जो दी जाती है। देश का अन्नदाता किसान केन्द्र सरकार के जैविक व प्राकृतिक खेती मिशन व अन्य आधुनिक विकास की सोच के साथ है, लेकिन आर्थिक असमानता के शिकार के अभी भी महत्वपूर्ण निम्न सवाल केन्द्र सरकार के मुखिया माननीय प्रधानमंत्री भारत सरकार श्री नरेंद्र मोदी जी से अराजनैतिक रूप से तो बनते ही हैं। 👉 देश के किसानों के लिए केन्द्र में #किसान_आयोग का गठन कब ? देश में सबके आयोग, लेकिन किसान आयोग क्यों नहीं, जिसके अध्यक्ष व सदस्य किसान हों, जिस प्लेटफार्म पर अन्नदाता किसान

युवा सशक्तिकरण सबसे आवश्यक है। जानिए क्या बिन्दु हैं, जिन पर सरकारों को कार्य करना चाहिए।

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#युवा_सशक्तिकरण_सबसे_आवश्यक : आज वर्तमान परिस्थितियों के आधार पर हम कह सकते हैं हमारा हुआ जो देश का भविष्य तय करता है, उसके हालात संघर्षपूर्ण तो हैं ही किंतु से शारीरिक मानसिक तौर पर तोड़ देते हैं। युवा भारत की ताकत है, जब तक इनके लिए व्यक्तित्व निर्माण , स्किल डेवलपमेंट, रोजगार प्रबंधन, नशा मुक्ति अभियान, मानसिक तनाव रहित शिक्षा नहीं होगी तब तक युवा सशक्तिकरण असंभव है।